Employee Pension Scheme : अगर आप भी नौकरी पेशा हैं, तो ये खबर आपके लिए है. कर्मचारी के रिटायरमेंट पर पेंशन तय होती है. लेकिन, इसमें लिमिट होने से रिटायरमेंट के बाद पेंशन बहुत ज्यादा नहीं है. इसलिए इस लिमिट को हटाने की मांग है. आइए जानते हैं इससे आप पर कैसे असर पड़ेगा.
EPS Update : पेंशन को लेकर अच्छी खबर है. रिटायरमेंट फंड संस्था EPFO संगठित क्षेत्र के कर्मचारियों के लिए नई पेंशन स्कीम (Pension Scheme) लाने पर विचार कर रही है. एम्प्लॉई पेंशन स्कीम (EPS) के तहत लगे कैप को भी सरकार जल्दी ही हटा सकती है. आइए जानते हैं इससे आपकी जिंदगी पर क्या असर पड़ेगा.
क्या है EPS सीमा?
गौरतलब है कि अभी अधिकतम पेंशन योग्य वेतन 15,000 रुपये प्रति महीने तक सीमित है. यानी आपकी सैलरी चाहे जितनी हो, लेकिन पेंशन की कैलकुलेशन 15,000 रुपये पर ही होगी. इस लिमिट को हटाने को लेकर मामला कोर्ट में चल रहा है.
अभी क्या है EPS के नियम?
नौकरी करने वाला हर इंसान EPS का सदस्य बन जाता है. इसके तहत कर्मचारी अपनी सैलरी का 12% हिस्सा EPF में देता है, और फिर इतनी ही रकम उसकी कंपनी की ओर से भी दी जाती है, लेकिन इसमें से एक हिस्सा 8.33 परसेंट EPS में भी जाता है. लेकिन 15 हजार रुपये की लिमिट के कारण कुल पेंशन (15,000 का 8.33%) 1250 रुपये होता है.
जब कर्मचारी रिटायर होता है तब भी पेंशन की गणना करने के लिए अधिकतम वेतन 15 हजार रुपये ही माना जाता है, इस हिसाब से एक कर्मचारी EPS के तहत अधिकतम पेंशन 7,500 रुपये ही पा सकता है.
कैसे होती है पेंशन की कैलकुलेशन :
अब जानते हैं कि पेंशन की कैलकुलेशन कैसे होती है? एक बात जरूर ध्यान दें कि अगर आपने EPS में योगदान 1 सितंबर, 2014 से पहले शुरू किया है तो आपके लिए पेंशन योगदान के लिए मंथली सैलरी की अधिकतम सीमा 6500 रुपये होगी. 1 सितंबर, 2014 के बाद अगर आप EPS से जुड़े हैं तो अधिकतम सैलरी की सीमा 15,000 होगी. अब देखिए कि पेंशन की कैलकुलेशन होती कैसे है.
EPS कैलकुलेशन का फॉर्मूला :
मंथली पेंशन= (पेंशन योग्य सैलरी x EPS योगदान के साल)/70
यहां मान लेते हैं कर्मचारी ने 1 सितंबर, 2014 के बाद EPS में योगदान शुरू किया तो पेंशन योगदान 15,000 रुपये पर होगा. मान लीजिए कि उसने 30 साल तक नौकरी की है.
मंथली पेंशन = 15,000X30/70
= 6428 रुपये
अधिकतम और न्यूनतम पेंशन :
– इसके तहत कर्मचारी की 6 महीने या इससे ज्यादा की सर्विस को 1 साल माना जाएगा और इससे कम हुआ तो उसकी गिनती नहीं होगी.
– अगर कर्मचारी ने 14 साल 7 महीने काम किया है तो उसे 15 साल माना जाएगा.
– 14 साल 5 महीने काम किया है तो सिर्फ 14 साल की ही सर्विस काउंट होगी.
– EPS के तहत मिनिमम पेंशन की राशि 1000 रुपये प्रति महीना होती है, जबकि अधिकतम पेंशन 7500 रुपये होती है.
– इसी के साथ अगर 15 हजार की लिमिट खत्म होती है और आपकी बेसिक सैलरी 20 हजार रुपये है तो आपको ईपीएस फॉर्मूले के हिसाब से जो पेंशन मिलेगी वो ये होगी. (20,000 X 30)/70 = 8,571 रुपये.