बिहार में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव की तैयारियां लगभग पूरी हो चुकी हैं। आयोग ने भी चुनाव कराने को लेकर पूरी तरह कमर कस ली है। आयोग के निर्देश के चलते बीडीओ समेत कई अधिकारी क्षेत्रों का जायजा लेने निकल पड़े हैं। बीडीओ हर बूथ पर मतदान केन्द्र की जानकारी लेते दिख रहे हैं। जिला प्रशासन के दिशानिर्देश पर जहां पूर्व में कोषांगों का गठन किया गया है।
इस बीच पंचायत चुनाव के लिए पटना जिले में चयनित होने वाली एजेंसियों में एक एजेंसी जांच के बाद ब्लैक लिस्टेड निकली है। 17 अगस्त को एजेंसियों का चयन किया जाना है। इससे पहले एजेंसियों के कागजात एवं ब्लैक लिस्ट की छानबीन चल रही है। इसी सिलसिले में एक एजेंसी के ब्लैक लिस्टेड होने की जानकारी मिली है।
जानकारी के अनुसार पंचायत चुनाव के लिए जिला पंचायत राज पदाधिकारी की ओर से एजेंसियों का चयन करने के लिए तीन बार निविदा निकाली जा चुकी है, क्योंकि दो बार निविदा में तकनीकी गड़बड़ी होने के कारण उसे रद्द करना पड़ा था। दूसरी बार कुल 44 एजेंसियों ने आवेदन दिया था।
इन एजेंसियों को पंचायत चुनाव के दौरान अलग-अलग प्रकार की सामग्रियों की आपूर्ति करना था। अधिकारियों का कहना है कि छानबीन में पता चला है कि एक एजेंसी जो पटना की है वह ब्लैक लिस्टेड है। हालांकि, एजेंसी के संचालक की ओर से दिए गए शपथ पत्र में ब्लैक लिस्टेड होने का जिक्र नहीं किया गया था।
इस मामले में उस एजेंसी पर कार्रवाई होगी। यह भी जानकारी ली जा रही है कि जो कंपनी ब्लैक लिस्टेड है कहीं उसका संचालक दूसरे फॉर्म या एजेंसी का नाम बदलकर आवेदन तो नहीं कर दिया है।